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तंत्रिका तंत्र NERVOUS SYSTEM IN HINDI
हमारे शरीर और जैविक क्रियाओं को नियंत्रित करने वाले तंत्र को तंत्रिका तंत्र nervous system कहते हैं तंत्रिका तंत्र nervous system तंत्रिका उत्तक से बना होता है यह न्यूरॉन कोशिका से बनी होती है न्यूरॉन कोशिका तंत्रिका तंत्र की रचनात्मक एवं क्रियात्मक इकाई होती है
इसे तंत्रिका कोशिका भी कहते हैं एक व्यक्ति में 30 अरब तंत्रिका कोशिकाएं होती हैं इसकी लंबाई 45 से 90 सेंटीमीटर होती है। तंत्रिका कोशिका तीन प्रकार की होती है।
- डेन्ड्रान
- साइटोन
- एक्सान
TYPES OF NERVOUS SYSTEM
तंत्रिका तंत्र tantriak tantra को तीन भागों में बांटा गया है।
- केंद्रीय तंत्रिका तंत्र Central Nervous System
- परिधीय तंत्रिका तंत्र peripheral Nervous system
- स्वायत तंत्रिका तंत्र Autonomic Nervous system
1. केंद्रीय तंत्रिका तंत्र CENTRAL NERVOUS SYSTEM
यह tantrika tantra दो प्रकार के होते हैं
- मस्तिष्क Brain
- मेरुरज्जु Spinal Cord
1. मस्तिष्क
MIND तीन प्रकार के होते हैं।
- प्रमस्तिष्क Cerebrum
- मध्य मस्तिष्क Mid Brain
- पश्च मस्तिष्क Hind Brain
1.प्रमस्तिष्क CEREBRUM
यह मस्तिष्क का सबसे बड़ा भाग है इसी के द्वारा आदमी सोचता और समझता है उसी के द्वारा निर्णय लेता है। इसके भी 2 भाग होते हैं।
a. थैलेमस THALAMUS
यह मस्तिष्क का वह भाग है इसके द्वारा दर्द और ठंडा गरम का एहसास होता है हाइपोथैलेमस यह हमारे शरीर में हारमोंस को नियंत्रित करता है इसी के एक भाग में पिट्यूटरी ग्रंथि होती है जो हारमोंस को नियंत्रित करती है इनका आकार मटर के दाने के समान होता है।
b. हाइपोथैलेमस HYPOTHALAMUS
के द्वारा भूख प्यास प्रताप पाचन क्रिया हारमोंस नियंत्रण नींद प्यार करना और गुस्सा एवं खुशी का अनुभव होता है।
2. मध्य मस्तिष्क MID BRAIN
इसके 4 भाग होते हैं जिसमें 2 भाग सूंघने और 2 भाग देखने के लिए काम में आते हैं इसे कॉरपोरा क्वार्डिगेमिना भी कहा जाता है इसमें धूसर द्रव भरा होता है जो दिमाग को ठंडा करने का कार्य करता है।
3. पश्च मस्तिष्क Hind Brain
इसको Hind Brain भी कहते हैं इसके दो भाग हैं।
अनुमस्तिष्क CREBELLUM
सेरीबेलम यह समस्त जैविक क्रिया जैसे हाथ पैर का हिलना बोलना गर्दन का घूमना आदि नियंत्रित करता है जब कोई आदमी शराब पीता है तो उनका यह हिस्सा काम करना बंद कर देता है।
मेडुला आब्लागेटा MEDULLA OBLANGATA
यह मस्तिष्क और मेरुरज्जु को जोड़ने वाला हिस्सा होता है इसका कार्य छींकना, खासना, उल्टी, चक्कर आना हृदय का धड़कना स्वसन क्रिया, रक्तदाब, इसी के द्वारा नियंत्रित होता है।
मेरुरज्जु SPINAL CORD
शरीर की बाहे और आंतरिक प्रतिक्रियाओं को दिमाग से जोड़ता है।
2. परिधीय तंत्रिका तंत्र PERIPHERAL NERVOUS SYSTEM
यह tantrika tantra शरीर की मस्तिष्क तथा मेरुरज्जु द्वारा संपूर्ण शरीर को यह हिस्सा जोड़ता है।
3. स्वायत्त तंत्रिका तंत्र AUTONOMIC NERVOUS SYSTEM
शरीर की विभिन्न गतिविधियां जैसे पलकों का झपकना हृदय की धड़कन तथा हमारे धमनी एवं शिरा में रक्त का बहना उत्सर्जन की क्रिया जिस पर हमारा कोई नियंत्रण नहीं होता वह इसी के द्वारा होती है।